Sunday, May 17, 2020

कोरोना काल में कबूतरों का कारवां

अभी कहां जाते होंगे,एक साथ सैकड़ों भूखे -प्यासे कबूतर रोज़ ?आकर चैन से चुग लेते हैं,चबूतरे पर बिखेरे गए अनाज के अपने दाने और पी लेते हैं माटी के बर्तन में खास अपने लिए रखा हुआ ताजा जल ?        होंगे क्या छाता लगाये,या दरख़्त के नीचे चौके की रखबाली में रसोइये की तरह खड़ा चौकन्ने इन्सान ?                           

दिल्ली तरफ एक्सप्रेस मार्ग नोएडा का वह तिमुहानी भी जहां से,बायें रास्ता अट्टाबाज़ार चला जाता है यहां से आगे खेल खेल में सहेली की तरह टोल रोड को बायें धकेलती हुई सीधे भाग जाती है,अक्षरधाम,उससे और आगे...

त्रिमुहानी के बायें फूटपाथ पर अभी क्या, होता है वह इंतज़ाम ? बिखेरे जा रहे हैं अनाज, दाने, माटी बर्तन में पानी?              गुजरते हैं उधर होकर कबूतरों के कारवां ?

दिल्ली में, इनके लिए भी वैसे रैन बसेरे बनाए हैं क्या दिल्ली ने ?                          उत्तर प्रदेश ने यहां नोएडा में इनके लिए भी जनता निवास !

गंगेश गुंजन

  •            [उचितवक्ता डेस्क]


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